"सूरता नान्हेपन के होरी के"
मोला सूरता आथे संगवारी,
नान्हेपन के रंग गुलाल,अउ संगी के गुरतूर गारी।
मोला सूरता आथे संगवारी,
नान्हेपन के होरी,
मोला सूरता आथे---
नान्हेपन के रंग गुलाल,अउ संगी के गुरतूर गारी।
मोला सूरता आथे संगवारी,
नान्हेपन के होरी,
मोला सूरता आथे---
सूरता आथे मोला गांव के गली के,
खांध जोरे हमर टोली चलई।
मीतानी रंग लगायेला बल्ला अउ बल्ली के,
हांका पार-पार हमजोली बलई।
मोला सूरता आथे संगवारी,
नान्हेपन के निच्छल परेम अउ मया के दुवारी--।
मोला सूरता आथे---
खांध जोरे हमर टोली चलई।
मीतानी रंग लगायेला बल्ला अउ बल्ली के,
हांका पार-पार हमजोली बलई।
मोला सूरता आथे संगवारी,
नान्हेपन के निच्छल परेम अउ मया के दुवारी--।
मोला सूरता आथे---
सूरता आथे मोला कुआं के पार,
चार हांथ म पानी लउहा बाल्टी ल डार।
छलकत बाल्टी के पानी ल उतार,
अऊंहा-झऊंहा पुड़िया के रंग ल मतार।
मोला सूरता आथे संगवारी,
बचपन के उज्जर रंग अउ बांस के पिचकारी--।
मोला सूरता आथे---
चार हांथ म पानी लउहा बाल्टी ल डार।
छलकत बाल्टी के पानी ल उतार,
अऊंहा-झऊंहा पुड़िया के रंग ल मतार।
मोला सूरता आथे संगवारी,
बचपन के उज्जर रंग अउ बांस के पिचकारी--।
मोला सूरता आथे---
सूरता आथे मोला गुरूजी के बोली,
दूनी के पाहड़ा अउ एके ठन खोली।
चामटी के भाखा अउ मांड़ी तरी गोली,
मनखे बनाये बर फेर आवथे होली।
मोला सूरता आथे संगवारी,
बचपन के सादामन अउ सपना के रखवारी--।
मोला सूरता आथे---
दूनी के पाहड़ा अउ एके ठन खोली।
चामटी के भाखा अउ मांड़ी तरी गोली,
मनखे बनाये बर फेर आवथे होली।
मोला सूरता आथे संगवारी,
बचपन के सादामन अउ सपना के रखवारी--।
मोला सूरता आथे---
मोला सूरता आथे संगवारी,
नान्हेपन के होरी मोला सूरता आथे-----
नान्हेपन के होरी मोला सूरता आथे-----
रचना :---सुखदेव सिंह अहिलेश्वर
शिक्षक पंचायत
गांव - गोरखपुर पोस्ट- पिपरिया
कवर्धा,जिला-कबीरधाम(छग)
मो, 9685216602
शिक्षक पंचायत
गांव - गोरखपुर पोस्ट- पिपरिया
कवर्धा,जिला-कबीरधाम(छग)
मो, 9685216602
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